यूपी की सियासी गलियों में कब कौन बागी हो जाए और कब किसका गठबंधन हो जाए इसका अंदाजा लगाना मुश्किल हैं | आजकल सूबे में बीजेपी और अपना दल का गठबंधन चर्चाओ में हैं लेकिन बताया जा रहा हैं की की दोनों के बीच कुछ भी ठीक नहीं हैं और सोंराव की सीट से दोनों के उम्मीदवारों ने परचा दाखिल कर दिया हैं | बड़े ही नाटकीय ढंग से एक दिन पहले ही सोरांव से भाजपा का उम्मीदवार बनने का दावा करने वाले सुरेन्द्र चौधरी ने कलेक्ट्रेट में हजारों समर्थकों के साथ नामांकन किया। जबकि सुरेन्द्र से पहले ही भाजपा-अद गठबंधन प्रत्याशी जमुना प्रसाद सरोज ने भी नामांकन कर दिया। हालांकि भाजपा द्वारा सोरांव की गठबंधन सीट पर अपना प्रत्याशी लड़ने की अभी तक न तो कोई आधिकारिक घोषणा हुई और न ही कोई सूची जारी की गई है।
मुश्किल में जा सकती हैं पार्टी – अनुप्रिया
अपना दल की आलाकमान अनुप्रिया पटेल ने कहा हैं की बीजेपी की इस हरकत से उसको मुश्किल उठानी पड़ सकती हैं और गठबंधन को लेकर क्षेत्र के लोगो में गलत सन्देश जा रहा हैं | अपना दल प्रवक्ता बृजेन्द्र प्रताप ने बताया कि अनुप्रिया के आदेशानुसार व गठबंधन की वैधानिक प्रक्रिया के अनुसार ही अपना दल की ओर से जमुना सरोज ने नामांकन किया हैं। अनुशासन बनाये रखने के लिये आगे पार्टी अपना निर्णय लेगी।
कुर्मी बाहुल्य हैं इलाका –
सोरांव विधानसभा सीट पर हमेशा से कुर्मी बिरादरी का वोट पहले स्तर का रहा है। राजनीतिक समीकरणों में भी पूर्व विधायक जंग बहादुर पटेल, पूर्व सांसद धर्मराज पटेल ने इन वोटों की उपयोगिता साबित भी की है। ऐसे मे अपना दल को नाराज कर यहां भाजपा का बगावती प्रत्याशी उतारना नुकसानदेह भी हो सकता है। निश्चित तौर पर अगर अपना दल के समर्थक व कार्यकर्ता नाराज हुये दो गठबंधन के दोनों दल यहां डूब जायेंगे।
जाहिर हैं की सियासी गलियारों में ये खबर आम हो चुकी हैं की दोनों पार्टियों के बीच कुछ भी ठीक नहीं चल रहा हैं और दोनों में वाराणसी की एक सीट को लेकर भी मतभेद चल रहा हैं |